Anant Singh Mokama Case : बिहार के मोकामा में दुलारचंद यादव की हत्या के मामले में पांच बार के विधायक और जनता दल यूनाइटेड के उम्मीदवार अनंत सिंह को गिरफ्तारी के बाद जेल भेज दिया गया है। उनके खिलाफ उनके ही बयान को जिम्मेदार माना जा रहा है।
हत्या के बाद क्या हुआ?
दुलारचंद यादव की हत्या के दिन आरजेडी नेता दुलारचंद जन सुराज पार्टी के प्रत्याशी पीयूष प्रियदर्शी के समर्थन में वोट मांग रहे थे। प्राथमिकी में नामजद होने के बावजूद अनंत सिंह की गिरफ्तारी तब नहीं हुई जब तक चुनाव आयोग ने प्रशासन और पुलिस को संज्ञान में नहीं लिया। इसके परिणामस्वरूप, पटना ग्रामीण के एसपी, मोकामा विधानसभा के रिटर्निंग ऑफिसर (बाढ़ के एसडीओ) समेत तीन अधिकारियों को हटा दिया गया है और एक एसडीपीओ को सस्पेंड कर दिया गया है।
अपने बयान से ही फंस गए अनंत सिंह
अनंत सिंह का ही बयान ही उनकी गिरफ्तारी का कारण बना। एफआईआर में नामजद होने के साथ ही, अनंत सिंह ने अपने ही बयान में कहा था कि हत्या सूरजभान सिंह का खेल है। सूरजभान सिंह पूर्व सांसद हैं और उनकी पत्नी वीणा देवी तेजस्वी यादव की पार्टी राजद के टिकट पर मोकामा से चुनाव लड़ रही हैं। वहीं, दुलारचंद यादव भी राजद के ही थे, लेकिन इस चुनाव में जन सुराज के प्रत्याशी पीयूष प्रियदर्शी के समर्थन में खड़े थे।
अनंत सिंह ने क्या कहा?
अपने बयान में अनंत सिंह ने स्वीकार किया कि वह घटना के दौरान वहां मौजूद थे। उन्होंने कहा था कि उनके साथ 30-40 गाड़ियां आगे निकल गई थीं और 10 गाड़ियां पीछे रह गई थीं, जिन्हें जन सुराज समर्थकों ने तोड़ दिया। उन्होंने यह भी कहा कि सबसे पहले, दुलारचंद यादव ने हाथ उठाया था। पुलिस जांच शुरू ही हुई थी कि उनके इस बयान के कारण राजनीति में हलचल मच गई। विपक्ष और चुनाव आयोग ने इसकी निंदा की और अनंत सिंह की मौजूदगी की जांच की मांग की।
घटना स्थल पर मौजूद थे अनंत सिंह
एसएसपी कार्तिकेय शर्मा ने मीडिया से कहा था कि जांच में पाया गया कि अनंत सिंह घटना स्थल पर मौजूद थे और उनके साथ ही उनके सहयोगी मणिकांत ठाकुर और रंजीत राम भी मौजूद थे, जिन्हें गिरफ्तार किया गया है।
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