भारत की मेजबानी में ICC World Cup कुछ ही दिनों में शुरू होने वाला है. 5 अक्टूबर से होने वाले इस मेगा इवेंट के लिए टीमों की तैयारियां लगभग हो चुकी हैं। सभी टीमों को दो-दो वॉर्मअप मैच खेलने थे। टीमें एक-एक मैच खेल चुकी हैं। अब सोमवार व मंगलवार को बाकी एक-एक मैच खेलकर सभी टीमें तैयारियां पूरी करने उतरेंगी। आज हम वर्ल्ड कप में शामिल पांच टीमों के इस साल के प्रदर्शन के आधार पर उनकी मजबूती, कमजोरी और एक्स-फैक्टर के बारे में जानते हैं….
ऑस्ट्रेलिया: ऑल राउंडर खिलाड़ियों से भरी है
ऑस्ट्रेलिया का हालिया प्रदर्शन चिंताजनक और स्मिथ का फॉर्म निराशाजनक रहा है. स्मिथ ने इस साल 6 वनडे मैचों में सिर्फ 137 रन बनाए। हालांकि ऑस्ट्रेलिया के बॉलर्स हमेशा की तरह शानदार प्रदर्शन कर रहें हैं, 2020 से पावरप्ले में सर्वाधिक विकेट लेने “वाले टॉप-5 गेंदबाज में दो ऑस्ट्रेलियाई हैं।
- टीम की ताकत: ऑस्ट्रेलिया के पास मैक्सवेल, स्टोइनिस, मार्श और कैमरून ग्रीन जैसे बेहतरीन खिलाडी है जो बैट और बॉल दोनों से शानदार प्रदर्शन करने में सक्षम है। शुरुआती 10 ओवर्स में सर्वश्रेष्ठ 120 की स्ट्राइक रेट से रन बनाती है।
- कमजोरी: मिडिल ओवर में 24.40 का औसत है, जो सबसे कम रहा है।
- दिक्कत: इस साल तीन वनडे सीरीज खेली हैं और तीनों में हार मिली। इस साल 6 मैच में पहले गेंदबाजी करते हुए 4 बार 300 से अधिक रन लुटाए हैं.
- एक्स फैक्टर: स्पिनर जम्मा एक्स फैक्टर हो सकते हैं। उन्होंने भारत में 16 मैच में 27 विकेट लिए हैं।
अफगानिस्तानः स्पिनर्स के साथ उतरेगी टीम, वर्ल्ड कप में चौंका सकती है
- ताकत: टीम की सबसे बड़ी ताकत उनकी स्पिन गेंदबाजी है। स्पिन गेंदबाजों ने इस साल टीम के लिए 40% से अधिक विकेट लिए हैं। सभी स्पिनर्स की इकोनॉमी रेट 5 से कम की हैं। टॉप ऑर्डर ने स्पिन गेंदबाजों के खिलाफ सर्वाधिक 83.60 की औसत से रन बनाए
- कमजोरी: वर्ल्ड कप में भाग लेने वाली सभी टीमों में से डेथ ओवर्स में टीम का औसत सबसे काम(31) है. टीम की बैटिंग लाइन उप कमजोर है । मिडिल ऑर्डर बैटर्स ने इस साल सबसे कम 22.36 की औसत और 82.83 के स्ट्राइक रेट से रन बनाए हैं।
- दिक्कत: बड़ी समस्या ये है कि अच्छा खेलने के बावजूद टीम बड़े मंच पर जीत दर्ज नहीं कर पाती है।
- एक्स फैक्टर: राशिद पिचों पर अंतरराष्ट्रीय क्रि 22वीं गेंद पर विकेट लेते
बांग्लादेश में चार वर्ल्ड कप खेलने वाले खिलाड़ियों का अनुभव
बांगलादेश टीम की ताकत उनके दो अनुभवी खिलाड़ी शाकिब अल हसन और मुशफिकुर रहीम हैं। दोनों ही लगातार पांचवां वर्ल्ड कप खेल रहे हैं। रहीम इस साल 6 नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए 400 रन बनाने वाले केवल दूसरे खिलाड़ी हैं। साथ ही, इस नंबर पर साल में एकमात्र शतक उन्हीं के बैट से आया है। टीम के एक्स फैक्टर ऑलराउंडर शाकिब होंगे। उन्होंने 2019 वर्ल्ड कप में 606 रन बनाए और 11 विकेट भी लिए थे।
इंग्लैंड: पिछली बार चैम्पियन बनाने वाले 8 खिलाड़ी इस टीम में शामिल हैं,उनका अनुभव मदद करेगा।
- टीम में 8 खिलाड़ी ऐसे हैं, जो 2019 में वर्ल्ड कप जीतने वाली टीम का हिस्सा थे। इंग्लैंड
शुरुआती ओवरों में 100 के स्ट्राइकरेट वाली टीमों में से एक है। ओपनर्स 105.55 स्ट्राइकरेट से रन बनाते हैं। - ऐतिहासिक तौर पर इंग्लैंड ने भारतीय पिच पर वनडे खेलते हुए 59% मुकाबले हारे हैं।
- कमजोरी: स्पिन फ्रेंडली पिच पर टीम संघर्ष करती है।
- दिक्कत: टीम में दूसरे स्पिनर की कमी भारतीय पिच पर इंग्लैंड को कमजोर करती है।
- उन्होंने 102.60 की स्ट्राइक रेट और 37.41 की औसत से पेसर्स के खिलाफ रन बनाए हैं।
- स्पिन के खिलाफ टॉप ऑर्डर का औसत 31.62 का है, जो दूसरा सबसे खराब है।
- एक्स फैक्टर/स्टोक्स बड़े मैच के खिलाड़ी है। पिछले दिनों 182 रन की पारी खेल चुके हैं
श्रीलंका: स्पिनर्स के बूते एशिया कप के फाइनल में पहुंची, पेसर्स के खिलाफ संघर्ष
- ताकत :सबसे बड़ी ताकत स्पिन गेंदबाजी है साल में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले स्पिनर्स की सूची में तीक्ष्ण (31) दूसरे पर है
- श्रीलंकाई टीम के स्पिनर्स ने में सबसे ज्यादा 85 विकेट लिए है। दूसरे स्थान पर भारत (61) है।
- कमजोरी: बेटिंग पेसर्स के सामने संघर्ष करती है। इस साल विरोधी पेसर्स श्रीलंका के खिलाफ 106 विकेट लिए है। तेज गेंदबाजों के खिलाफ 21.51की औसत और 84.23 की स्ट्राइक रेट सबसे खराब है।
- दिक्कत : हसरंगा चोटिल होकर टीम से बहार होगये है.उनकी कमी टीम को खल सकती है.
- एक्सफैक्टर – कुशल मेंडिश एक्सफैक्टर साबित हो सकते है है,एशिया कप में 599 रन बनाए हैं.