मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को मिली Z+ की सुरक्षा

NSG कमांडो सहित 20 गाड़ियों का होगा काफिला, बुलेट प्रूफ कार में रहेंगे मुख्यमंत्री डॉ. यादव

भोपाल। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को जेड प्लस (Z+) सुरक्षा दी गई है। उनकी सुरक्षा का घेरा अब पहले से ज्यादा चाक- चौबंद होगा। सीएम यादव 24 घंटे जेड प्लस सुरक्षा में रहेंगे। उनकी सुरक्षा में एनएसजी कमांडो की टीम समेत प्रदेश की पुलिस को तैनात किया गया है। सीएम डॉ. मोहन यादव की सुरक्षा में 36 NSG कमांडो, 2 SP, 2 ASP, 4 DSP, विशेष सुरक्षा बल के जवान और राज्य पुलिस के हथियारबंद जवान भी 24 घंटे पहरे के लिए तैनात किए गए हैं। सीएम का काफिला 14 से 20 गाड़ियों का होगा। इस काफिले में एक बुलेटप्रूफ कार भी शामिल है जिसमें वह सवार रहेंगे। प्रदेश के सीएम की सुरक्षा को लेकर गृह विभाग काफी सतर्क है।

जानें क्या है Z+ सिक्योरिटी

आपको बता दें की भारत में Z+ सुरक्षा सर्वोच्च श्रेणी की सुरक्षा मानी जाती है। आप ये जानकर हैरान हो जायेंगे की Z+ सुरक्षा में व्यक्ति के पास 10 से ज्यादा एनएसजी कमांडो और राज्य के पुलिस कर्मियों समेत 55 ट्रेंड जवान तैनात किए जाते हैं। ये कमांडो 24 घंटे व्यक्ति के चारों तरफ पैनी नजर रखते हैं। सुरक्षा में लगा प्रत्येक कमांडो मार्शल आर्ट का स्पेशलिस्ट होता है। इसके साथ ही इस जत्थे में आधुनिक हथियार भी होते हैं। भारत में Z+ सुरक्षा पाने वालों में पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत समेत कई बड़े चेहरे शामिल हैं।

गृह मंत्रालय के सुरक्षा की ब्लू बुक के मुताबिक हर एक वीवीआईपी को जेड प्लस कैटेगरी की सुरक्षा दी जाती है. इनके चारो तरफ कड़ा सुरक्षा का पहरा होता है. ब्लू बुक की मानें तो Z प्लस  कैटेगरी की सुरक्षा में 10 आर्म्ड स्टैटिक गॉर्ड, 6 PSO, 24 जवान, 5 वॉचर्स दो शिफ्ट में रहते हैं. एक इंस्पेक्टर या सब इंस्पेक्टर इंचार्ज के तौर पर तैनात रहता है.

यह भी पढ़ें- https://shabdsanchi.com/lalit-jha-lalit-mastermind-parliament-infiltration-scandal-caught-took-lot-effort-escape/

गृह मंत्रालय जेड प्लस कैटेगरी की सिक्योरिटी के अलावा कई अन्य तरीके की सुरक्षा भी वीआईपी को दी जाती हैं.

Z सिक्योरिटी
भारत में Z+ के बाद सबसे सुरक्षित सिक्योरिटी Z सुरक्षा को माना जाता है। यह Z+ से थोड़ी अलग है। इसमें संबंधित व्यक्ति के आसपास 6 से 10 NSG कमांडो और पुलिस कर्मियों समेत 22 जवान तैनात होते हैं। यह सुरक्षा दिल्ली पुलिस, आईटीबीपी या सीआरपीएफ के जवानों द्वारा की जाती है। देश में बाबा रामदेव समेत कई अभिनेताओं और नेताओं के पास है।

Y+ सिक्योरिटी
Z सिक्योरिटी के बाद Y+ सुरक्षा का नाम आता है। इस सुरक्षा में 11 सुरक्षा कर्मी शामिल होते हैं। इनमें 1 या 2 कमांडो, 2 पीएसओ शामिल होते हैं। इनके साथ ही इस ग्रुप में पुलिसकर्मी भी शामिल होते हैं। बिहार के उपेंद्र कुशवाहा को सरकार ने यही सुरक्षा प्रदान की है।

Y सिक्योरिटी
Y श्रेणी जत्थे में 1 या 2 कमांडो और पुलिस कर्मियों सहित 8 जवानों का सुरक्षा कवच प्रदान कि जाती है। इसमें सुरक्षा के लिए दो पर्सनल सिक्योरिटी ऑफिसर (पीएसओ) भी प्रदान किया जाता है। देश भर में इस श्रेणी की सुरक्षा पाने वाले लोगों की संख्या काफी ज्यादा है।

X सिक्योरिटी
इस श्रेणी की सुरक्षा में संबंधित व्यक्ति के साथ 2 सशस्त्र पुलिस कर्मियों को तैनात किया जाता है। यह सुरक्षा पर्सनल सिक्योरिटी ऑफिसर द्वारा प्रदान की जाती है। भारत में काफी संख्या में लोगों को इस श्रेणी की सुरक्षा मिलती है।

जानें कौन देता वीआईपी को सिक्योरिटी?
देश में वीवीआईपी लोगों को कई सुरक्षा एजेंसी द्वारा सिक्योरिटी दी जाती है। इनमे एसपीजी (SPG), एनएसजी (NSG), आईटीबीपी (ITBP) और सीआरपीएफ (CRPF) जैसी एजेंसियां शामिल हैं। इस सुरक्षा को पाने के लिए सरकार को एप्लीकेशन देनी पड़ती है, जिसके बाद खुफिया एजेंसी व्यक्ति को होने वाले खतरे का अंदाजा लगाती हैं और इन सब के बाद ही सुरक्षा तय की जाती है। भारत के गृह सचिव, डायरेक्टर जनरल और चीफ सेक्रेटरी की कमेटी तय करती है कि किस व्यक्ति को कौन सी सुरक्षा प्रदान करनी है।

खबर विशेष-

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *