France Elections 2024: फ्रांस के आम चुनावों में बदलाव देखने को मिल रहा है। इस बार चुनाव में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला है। चुनाव के बाद वामपंथी न्यू पॉपुलर फ्रंट (NFP) नेशनल असेंबली में मुख्य ताकत बनकर उभरी। नतीजे आने के बाद से फ्रांस में हिंसा बढ़ गई है। इस चुनाव में दक्षिणपंथी पार्टी को बहुमत मिलने की उम्मीद थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। पार्टी की उम्मीदें धराशायी हो गईं और देश में त्रिशंकु सरकार की स्थिति पैदा हो गई।
इमैनुएल मैक्रो को झटका
इन नतीजों ने राष्ट्रपति Emmanuel Macron को करारा झटका दिया है और यूरो जोन की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था को अधर में लटका दिया है, जिससे पेरिस में ओलंपिक खेलों की मेजबानी से कुछ ही हफ्ते पहले राजनीतिक अस्थिरता का दौर शुरू हो गया है। मैक्रों की संसद में दरार पड़ गई है, जिससे यूरोपीय संघ और उसके बाहर फ्रांस की भूमिका कमजोर होगी और किसी के लिए भी घरेलू एजेंडे को आगे बढ़ाना मुश्किल हो जाएगा।
सड़कों पर प्रदर्शनकारी
वामपंथी गठबंधन को ज्यादा सीटें मिलने के बाद से प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतर आए और हिंसा शुरू कर दी। झड़पों के बीच कई जगह पर पुलिस ने आंसू गैस का इस्तेमाल किया है।
प्रधानमंत्री गेब्रियल अटाल देंगे इस्तीफा
मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार वामपंथियों ने 182 सीटें जीतीं, मैक्रों (Emmanuel Macron) के मध्यमार्गी गठबंधन ने 168 और ले पेन की नेशनल रैली (RN) और सहयोगियों ने 143 सीटें जीतीं। प्रधानमंत्री गेब्रियल अट्टल ने तब कहा कि वह अपना इस्तीफा दे देंगे, लेकिन यह स्पष्ट नहीं था कि सरकार बनाने के कठिन कार्य को देखते हुए राष्ट्रपति इसे तुरंत स्वीकार करेंगे या नहीं। अट्टल ने कहा कि वह कार्यवाहक भूमिका में बने रहने को तैयार हैं।
क्या लेफ्ट के साथ मिलकर सरकार बनाएंगे मैक्रो?
फ्रांस में इस बार संसदीय चुनाव (France Elections 2024) के पहले दौर में रिकॉर्ड तोड़ वोटिंग हुई है। कहा जा रहा है कि इस बार यहां 60 प्रतिशत से ज़्यादा वोटिंग हुई है। इस समय इस बात को लेकर काफ़ी चर्चा है कि क्या मैक्रों की पार्टी लेफ़्ट के साथ मिलकर फ्रांस में सरकार बनाएगी।