गर्भवती महिलाओं के लिए कैंसर से बचाव हेतु आहार और जीवनशैली के विकल्प

गर्भावस्था के दौरान, माताओं को अपने और शिशु के स्वास्थ्य के प्रति विशेष ध्यान देना चाहिए। इससे न केवल मां और भ्रूण को कई खतरनाक बीमारियों, जैसे कैंसर से बचाव होता है, बल्कि समग्र स्वास्थ्य भी बेहतर होता है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, 2022 में भारत में 14.1 लाख नए कैंसर के मामले दर्ज किए गए और इस बीमारी से 9.1 लाख से अधिक मौतें हुईं। रिपोर्ट में बताया गया है कि महिलाओं में सबसे ज्यादा स्तन और गर्भाशय ग्रीवा (सर्वाइकल) कैंसर के मामले पाए गए हैं।

गर्भवती महिलाओं को कैंसर के खतरे को कम करने के लिए निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना चाहिए:

संतुलित आहार बनाए रखें

गर्भवती महिलाओं को पोषक तत्वों से भरपूर संतुलित आहार लेना चाहिए। अपने आहार में विभिन्न फलों, सब्जियों, साबुत अनाज, कम वसा वाले प्रोटीन और स्वस्थ वसा को शामिल करें। इससे शरीर को आवश्यक विटामिन, खनिज और एंटीऑक्सीडेंट मिलते हैं जो सेलुलर मरम्मत और प्रतिरक्षा कार्यों के लिए आवश्यक हैं, जिससे कैंसर का खतरा कम हो सकता है।

विशेष रूप से हरी पत्तेदार सब्जियाँ, दालें और फोर्टिफाइड अनाज खाने से कैंसर का जोखिम कम हो सकता है। वहीं, मांस खाने वाले लोग ओमेगा-3 फैटी एसिड से भरपूर खाद्य पदार्थ, जैसे फैटी फिश, फ्लैक्ससीड, चिया सीड, और सोयाबीन तेल को शामिल करके कैंसर के विकास को रोक सकते हैं।

पर्याप्त मात्रा में पानी पीएं

गर्भावस्था के दौरान पर्याप्त जलयोजन बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि पानी पोषक तत्वों के परिवहन, अपशिष्ट उत्पादों के निष्कासन और समग्र शारीरिक कार्यों को बनाए रखने में मदद करता है। गर्भवती महिलाओं को दिन भर में पर्याप्त पानी पीना चाहिए।

प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों का सेवन सीमित करें

गर्भवती महिलाओं को प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों, मीठे स्नैक्स और परिष्कृत कार्बोहाइड्रेट के सेवन को सीमित करना चाहिए। ये पदार्थ आवश्यक पोषक तत्वों से वंचित होते हैं और वजन बढ़ाने और सूजन का कारण बन सकते हैं, जो कैंसर और अन्य पुरानी बीमारियों जैसे हृदय रोग और मधुमेह के खतरे को बढ़ाते हैं।

मादक पदार्थों से बचें

तंबाकू, शराब और धूम्रपान से गर्भावस्था के दौरान या उससे पहले बचना चाहिए। ये तीनों पदार्थ विभिन्न प्रकार के कैंसर के खतरे को बढ़ाते हैं और भ्रूण के विकास और मातृ स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए इनसे बचना विशेष रूप से महत्वपूर्ण है।

प्रदूषण से बचें

पर्यावरणीय कारक भी कैंसर के प्रमुख कारण होते हैं। महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान जितना संभव हो सके प्रदूषित हवा से बचना चाहिए। इसके अलावा, सनस्क्रीन का उपयोग करके हानिकारक यूवी किरणों के संपर्क को सीमित कर त्वचा कैंसर के जोखिम को कम किया जा सकता है।

शारीरिक गतिविधि करें

जीवनशैली के दृष्टिकोण से, गर्भावस्था के दौरान नियमित शारीरिक गतिविधि मां और भ्रूण दोनों के लिए लाभकारी होती है। धीमी चलने जैसी मध्यम व्यायाम या प्रीनेटल योग करने से न केवल शारीरिक फिटनेस बढ़ती है, बल्कि तनाव प्रबंधन में भी मदद मिलती है और मूड स्विंग्स में सुधार होता है जो गर्भावस्था के दौरान समग्र स्वास्थ्य के महत्वपूर्ण पहलू हैं।

महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान अपने स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखना चाहिए, खासकर भारत जैसे देश में जहां कैंसर के मामले अधिक हैं। इस समय, न केवल उनका अपना स्वास्थ्य बल्कि बच्चे का स्वास्थ्य भी मां पर निर्भर करता है। उपरोक्त बातों का ध्यान रखकर महिलाएं स्वस्थ गर्भावस्था का अनुभव कर सकती हैं और खुद और बच्चे को कैंसर जैसी खतरनाक बीमारियों से बचा सकती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *