बिहार। राज्य में सरकार का गठन होते ही अब यूपी की तर्ज पर बिहार में भी एक्शन शुरू हो गया है। बीजेपी विधायक एवं राज्य के गृहमंत्री सम्राट चौधरी ने पदभार ग्रहण करते ही राज्य में अपराध नियंत्रण को लेकर निर्देश जारी कर दिए और इसका असर शुक्रवार की रात ही सामने आया, जब पुलिस पर हमला करने वाले हत्या के आरोपी का पुलिस ने शार्ट इन कांउटर करके घायल कर दिया। घायल को ईलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
पुलिस और एसटीएफ का ज्वाइंट ऑपरेशन
एसटीएफ को इनपुट मिला था कि फरार बदमाश शिवदत्त राय साहेबपुर कमाल थाना क्षेत्र के मल्हीपुर के आसपास हथियार खरीदने आया है। जिस पर एसटीएफ मौके पर पहुची और स्थानिय पुलिस को सूचना दी। सूचना सही होने के चलते एसटीएफ और जिला पुलिस ने जॉइंट ऑपरेशन चलाया, तो वही दो बाइक पर सवार 6 बदमाश पुलिस को देखते ही गोली चलाने लगे। आत्मरक्षा में पुलिस ने गोली चलाई तो एक गोली शिवदत्त राय के पांव में जा धसी, जबकि अन्य बदमाश अंधेरे का फायदा उठाकर भाग गए। शिवदत्त राय को पकड़ कर पुलिस ने जब पूछताछ की, तो उसकी निशानदेही पर एक घर से भारी मात्रा में हथियार, कैश और कफ सिरप बरामद किए गए हैं।
सरपंच के घर फायरिंग कर हत्या का है आरोपी
घायल बदमाश तेघड़ा थाना क्षेत्र के बनहारा गांव के रहने वाले राजकिशोर राय का 27 साल का बेटा शिवदत्त राय है और उस पर हत्या समेत अन्य तरह के अपराध दर्ज है। बताया जा रहा है कि 2 सितंबर 2022 की रात तेघड़ा थाना क्षेत्र के धनकौल पंचायत के सरपंच मीना देवी के बनहारा स्थित घर पर अपराधियों ने ताबड़तोड़ गोलीबारी की थी। जिसमें सरपंच के छोटे बेटे अवनीश कुमार की घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी, जबकि बड़ा बेटा रजनीश कुमार घायल हो गया था। लूटपाट का विरोध करने पर यह हत्या किया जाना पाया गया था। इस मामले में शिवदत्त राय और उसके गिरोह के सरगना सहित कई बदमाशों पर नामजद प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी। गिरफ्तारी नहीं होने पर एसटीएफ उसके पीछे लगी हुई थी, इसी दौरान इनपुट के आधार पर रात में जब उसकी गिरफ्तारी की कोशिश की गई, तो बदमाशों ने पुलिस पर गोली चला दी। बदमाशों ने पुलिस पर 6-7 राउंड गोली चलाई। पुलिस ने जबाबी कार्रवाई किया और शिवदत्त घायल हो गया।
एक्शन में गृहमंत्री
दरअसल सम्राट चौधरी के गृहमंत्री बनने के बाद पुलिस डिपार्टमेंट ऐक्शन में है। संगठित अपराध को लेकर डीजीपी विनय कुमार ने सभी जिलों की पुलिस को नजरिया बदलने का आदेश जारी कर दिया है। जिसमें कहा गया है कि संगठित अपराध का मतलब सिर्फ बड़ी आपराधिक घटनाएं नहीं। या सिर्फ वैसी घटनाएं नहीं जिसमें बड़ा गिरोह शामिल हो। संगठित अपराध की श्रेणी में वैसी वारदात को भी शामिल किया गया हैं जिन्हें अब तक छोटी घटनाएं मानकर पुलिस हल्के में ले रही थी।
