Side Effects of Medical Support for Weight Loss – तेज़ी से वज़न घटाने की चाहत में आजकल कई लोग मेडिकल सपोर्ट जैसे दवाएं, इंजेक्शन, हार्मोनल ट्रीटमेंट और सर्जरी का सहारा ले रहे हैं। हालांकि ये उपाय कुछ लोगों के लिए लाभकारी हो सकते हैं, लेकिन इनके साथ जुड़ी साइड इफेक्ट्स की जानकारी होना भी उतना ही ज़रूरी है। इस लेख में हम मेडिकल वेट लॉस सपोर्ट के संभावित दुष्प्रभावों पर रोशनी डालेंगे ताकि कोई भी फैसला सोच-समझकर लिया जा सके।
मेडिकल वेट लॉस सपोर्ट के प्रकार
Types of Medical Weight Loss Support
वेट लॉस पिल्स (Weight Loss Pills)
जैसे – ऑर्लिस्टैट, फैट ब्लॉकर, एप्पेटाइट सप्रेसेंट्स
इंजेक्शन थेरेपी
जैसे – GLP-1 एगोनिस्ट
(Semaglutide Ozempic, Wegovy)
हार्मोनल ट्रीटमेंट
जैसे – थायरॉइड, इंसुलिन या अन्य मेटाबॉलिक हार्मोन से जुड़ी थेरेपी
बैरियाट्रिक सर्जरी
जैसे – गैस्ट्रिक बाईपास, स्लीव गैस्ट्रेक्टॉमी
मेडीकली वेटलॉस के संभावित साइड इफेक्ट्स
Potential Side Effects
डाइजेस्टिव समस्याएं (Digestive Issues)
- मिचली, उल्टी, दस्त या कब्ज़,
- फैट ब्लॉकर दवाओं से ऑयली स्टूल या बार-बार शौच की जरूरत महसूस होना।
हार्मोनल असंतुलन (Hormonal Imbalance)
- पीरियड्स की अनियमितता,
- थकावट या मूड स्विंग्स,
- थायरॉइड या कोर्टिसोल पर असर पड़ता है।
मानसिक स्वास्थ्य पर असर
Mental Health Impact
- चिड़चिड़ापन, डिप्रेशन या एंग्जायटी,
- कुछ दवाएं नींद की कमी या बेचैनी बढ़ा सकती हैं।
हृदय संबंधी जोखिम
Cardiac Risks
- हाई ब्लड प्रेशर,
- पल्स रेट में बढ़ोतरी,
- दिल की धड़कन अनियमित होना।
लीवर या किडनी पर प्रभाव
Liver/Kidney Strain
- कुछ दवाओं से लीवर एंजाइम बढ़ सकते हैं,
- लंबे समय तक सेवन से किडनी फंक्शन प्रभावित हो सकता है।
ड्रग डिपेंडेंसी या आदत बन जाना
Dependence
- एप्पेटाइट सप्रेसेंट्स का मनोवैज्ञानिक या फिज़िकल डिपेंडेंस,
- खुद से बंद करना मुश्किल हो सकता है।
ऐसे में क्या करें ? सतर्कता के उपाय
What You Should Do
- डॉक्टर की सलाह के बिना कोई दवा न लें,
- साइड इफेक्ट्स का ट्रैक रखें और नियमित टेस्ट कराएं,
- लाइफस्टाइल चेंज जैसे डाइट, एक्सरसाइज़ को प्राथमिकता दें,
- काउंसलिंग और मोटिवेशनल सपोर्ट लें,
- कम समय में ज़्यादा वजन घटाने से बचें।
विशेष – Conclusion
वज़न घटाना अगर स्वास्थ्य के लिए ज़रूरी हो तो मेडिकल सपोर्ट मददगार हो सकता है, लेकिन इसका चयन सोच-समझकर और चिकित्सकीय निगरानी में करना ज़रूरी है। शॉर्टकट के चक्कर में हेल्थ से खिलवाड़ न करें। वेट लॉस एक धीमी लेकिन स्थायी प्रक्रिया होनी चाहिए।