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Rahul Gandhi Real Caste: राहुल गाँधी की जाति क्या है?

Anurag thakur

Anurag thakur

What Is Caste Of Rahul Gandhi: बीते संसद में बहुत बवाल मचा, बवाल उस सवाल के लिए मचा जो पुछा ही नहीं गया. आरोप लगे कि बीजेपी सांसद अनुराग ठाकुर ने राहुल गांधी से उनकी जाति पूछ ली है, ये भी आरोप लगे कि अनुराग ठाकुर ने राहुल गांधी को गाली दी है. इसी बात को लेकर संसद में राहुल और अखिलेश ने खूब हंगामा किया। इधर सोशल मीडिया में नया खेल शुरू हो गया. कांग्रेस के लोग कहने लगे कि राहुल गांधी से आप जाति पूछना चाहते हैं? जिनके दादा, देश के लिए नौ साल जेल में रहे, जिसकी दादी और पिता ने देश के लिए शहादत दी? लेकिन राहुल गांधी ने तो 4 साल पहले खुद एक बार अपनी जाति बताई थी.

Is Rahul Gandhi Brahmin: राहुल ने कुर्ते के ऊपर से जनेऊ पहनकर खुद को ब्राह्मण बताया था, लेकिन जब चुनाव हार गए तो दोबारा उनका जनेऊ कहीं नज़र नहीं आया.

राहुल गांधी किस जाति के हैं?

Rahul Gandhi Is Hindu Or Parsi: खैर ये मामला गरम है और इतना जल्दी ठंडा नहीं होने वाला मगर सवाल कायम है. बात किसी कि जाति पूछने की है ही नहीं, बात किसी की जाति के बारे में जानने की भी नहीं है। बात ये है कि आप देश में जातिगत जनगणना कराकर हर एक नागरिक की जाति पूछना चाहते हैं मगर अपनी बताने में, पूर्वजों की शहादत गिनाने लगते हैं. आप सरकारी अधिकारीयों की जाति को लेकर सवाल खड़े कर सकते हैं लेकिन अपने में सवाल उठे तो गाली लगती है, आप प्रधान मंत्री को कह सकते हैं कि वो OBC नहीं है लेकिन जब बात आप पर उठे वो वो जाती-वाद का जहर लगने लगता है.

राहुल गांधी का धर्म क्या है?

Real Religion Of Rahul Gandhi: जिस देश में जाति समीकरण बनाकर राजनीति होती है, जहां जाति आधारित जनगणना की मांग होती है, जहां जाति के हिसाब से ही कोटा डिसाइड होता है कि तुम इस जाति के हो तो SC, इस जाति के हो तो OBC, इस जाति के हो तो जनरल वहां जाति के नाम पर इतना बवाल हो ये समझ से परे बात है. और वैसे भी कोई किसी भी जाति का हो उसे उसपर गर्व होना चाहिए, अपनी जाति खुद को गाली तो नहीं लगनी चाहिए बाकी दुनिया कहती रहे क्या फर्क पड़ता है?

राहुल गांधी हिन्दू हैं या पारसी?

वैसे देखा जाए तो क्या फर्क पड़ता है कि देश में कौन किस जाति का है? किस धर्म का है? इस देश ने तो एक क्रिस्चन महिला को चुनाव जिताया, इस देश ने एक सिख को अपना प्रधान मंत्री माना, इस देश ने एक मुस्लिम राष्ट्रपति को सबसे ज्यादा चाहा मगर ना जाने गांधी परिवार को ऐसा क्या हुआ कि कभी वो हिन्दू बन गए, फिर जनेउधारी ब्राह्मण बन गए, सरनेम में गांधी लिखते हैं जबकि इस परिवार का दूर-दूर से गांधी जी से कोई रिश्तेदारी नहीं थी.

राहुल गांधी के दादा का धर्म क्या था? (Real Surname Of Feroze Gandhi)

Religion Of Feroze Gandhi: नेहरू जी और उनकी धर्मपति कमला नेहरू की एक ही संतान थी इंदिरा नेहरू, जिनकी फिरोज गांधी से शादी हुई. असल में फिरोज गांधी नहीं फिरोज गेंड़ी था जिनके सरनेम की स्पेलिंग Ghandy हुआ करती थी. वो गुजरात से थे, पारसी थे. कुछ लोग उन्हें फिरोज खान कहते हैं लेकिन नहीं वो मुस्लिम नहीं पारसी थे. उनके पिता का नाम जहांगीर फ़रीदून गेंड़ी था. कुछ रिपोर्ट्स कि माने तो वो पेशे से पत्रकार और स्वतंत्रता सैनानी थे, उस वक़्त महात्मा गांधी काफी चर्चित और सम्मानित व्यक्ति थे, इसी लिए लोगों ने उन्हें भी मिस स्पेल करके फिरोज गाँधी कहना शुरू कर दिया, और उन्हें इस बात से कोई एतराज भी नहीं था. बाद में उन्होंने अपने सरनेम की स्पेलिंग से H को इधर उधर कर दिया और गेंड़ी से ऑफिशियली गांधी बन गए मगर अपना धर्म नहीं छोड़ा, न उसे कभी छिपाया। खैर शादी से पहले ही सरनेम बदल गया था तो इंदिरा भी नेहरू से गांधी हो गईं, उनके दो बेटे हुए राजीव और संजय। राजीव गांधी की शादी, एक ईसाई महिला Antoio maino से हुई जिनका नाम बाद में सोनिया गांधी हुआ. और उनके दो बच्चे हुए राहुल और प्रियंका।

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तो ये रहा राहुल गांधी का फैमिली ट्री, लेकिन उनकी जाति क्या है? ना तो हम पूछ रहे हैं न हम बता रहे हैं. वैसे पारसी समाज अब जात-पात में बहुत विश्वास नहीं रखता है, लेकिन उन्हें अपने धर्म को खुलकर बताने में कोई परहेज भी नहीं है. भारत के सबसे बड़े दानवीर उद्योगपति रतन टाटा भी तो पारसी हैं और भारत में पारसी समाज की काफी इज्जत है. पारसी होना कोई बुरी बात नहीं, कोई गाली नहीं है. खैर इस मामले में पक्ष-विपक्ष का ट्विटर वॉर शुरू हो गया है. केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने फिल्म जॉली LLB का वीडियो शेयर किया है, खैर ये बात देश की जनता को खटकती नहीं है कि जिस संसद में लोगों की मूल समस्याएं, देश का विकास, रक्षा-सुरक्षा, सुविधा पर चर्चा होनी चाहिए वहां बजट के हलवा सेरेमनी में शामिल वित्तीय अधिकारीयों की जाति ढूंढी जाती है, वहां ब्यूरोक्रैसट्स की जाति पूछी जाती है, और उनके समीकरण के हिसाब की जाति ना मिले तो मुद्दा बना दिया जाता है.

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