भारत- पाक संबंध पर फारूक अब्दुल्ला ने ऐसा क्या कह दिया की बवाल मच गया?

National Conference MP Farooq Abdullah

National Conference MP Farooq Abdullah: नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूक अब्दुल्ला ने कहा, “प्रधानमंत्री मोदी ने ये भी कहा था कि युद्ध अब कोई विकल्प नहीं है और मामलों को बातचीत के जरिए हल किया जाना चाहिए.”

Farooq Abdullah on Narendra Modi: नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता और जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला एक बार फिर अपने बयान की वजह से सुर्खियों में हैं. फारूक अब्दुल्ला ने भारत और पाकिस्तान के संबंधों को लेकर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने दोनों देशों के आपसी विवादों को सुलझाने के लिए पाकिस्तान से बातचीत नहीं करने को लेकर मोदी सरकार की खूब आलोचना की है (Farooq Abdullah criticizes Modi government). फारूक अब्दुल्ला ने ये तक कहा है कि अगर पाकिस्तान से बातचीत शुरू नहीं होती है तो हालात गाजा जैसे हो सकते हैं.

फारूक अब्दुल्ला का मोदी सरकार पर हमला

मीडिया से बातचीत के दौरान श्रीनगर सांसद फारूक अब्दुल्ला ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के एक बयान का जिक्र किया. इसमें वाजपेयी ने कहा था, ‘हम अपने दोस्त बदल सकते हैं लेकिन अपने पड़ोसी नहीं.’ मिडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अब्दुल्ला ने बताया,

“पीएम मोदी ने ये भी कहा था कि युद्ध अब कोई विकल्प नहीं है और मामलों को बातचीत के जरिए हल किया जाना चाहिए. लेकिन बातचीत कहां हैं? नवाज शरीफ पाकिस्तान के पीएम बनने वाले हैं. वो कह रहे हैं कि हम बातचीत के लिए तैयार हैं. लेकिन क्या कारण है कि भारत बातचीत के लिए तैयार नहीं है?”

https://twitter.com/ANI/status/1739549356267893175

अब्दुल्ला ने आगे कहा,

“अगर हमने भारत-पाकिस्तान रिश्तों का डायलॉग के जरिए समाधान नहीं निकाला तो हमारा भी गाजा जैसा ही हश्र होगा. जहां इजरायल द्वारा बमबारी की जा रही है.”

नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता ने बीजेपी के जम्मू-कश्मीर की स्थिति सामान्य होने के दावों को भी खारिज किया. उन्होंने कहा,

सामान्य स्थिति का नारा लगाने या टूरिस्ट्स के आगमन को शांति के रूप में प्रचारित करने से आतंकवाद खत्म नहीं होगा. वो दावा कर रहे थे कि अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के साथ आतंकवाद खत्म हो गया है. लेकिन चार साल बाद आतंकवाद अभी भी है. जब तक हम उसके मूल कारणों को नहीं समझेंगे आतंकवाद तब तक खत्म नहीं होगा.”

फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि केंद्र सरकार को जम्मू-कश्मीर में रक्तपात खत्म करने के लिए सही दृष्टिकोण खोजने की जरुरत हैं. सेना या पुलिस के इस्तेमाल से आतंकवाद खत्म नहीं होगा।

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