न्याज़ियामंथन। अक्सर परिस्थितियां हमें तोड़ कर रख देती हैं लेकिन आपको नहीं लगता कि जिसके […]
Tag: आत्ममंथन
दुनिया कौन होती है हमें…
न्याज़िया मंथन। दुनिया कुछ भी कहे, हम अच्छे हैं ,बुरे हैं या अजीब हैं तो […]
क्या है जीवन का गणित…
न्याज़िया मंथन। आपको नहीं लगता,पोथी पढ़के विद्वान बनना और बुद्धिमान बनके विवेक से काम लेना […]
आत्ममंथन: रोज़ी रोटी जब परदेस बुलाए
Atmamanthan In Hindi | न्याज़िया बेगम: आज की इस दौड़ती-भागती ज़िंदगी में रोज़ी रोटी की तलाश […]
आप को नहीं लगता ,आज की दुनिया में हर शख़्स परेशान सा है!
न्याज़िया मंथन। सब कुछ होते हुए भी हम जीवन का आनंद नहीं ले पाते कभी […]
ज़िंदगी क्या सच में एक पहेली है!
न्याज़िया मंथन। ज़िंदगी क्या सच में एक पहेली है जिसका जवाब ढूंढना बहुत मुश्किल है,जैसे […]
आत्ममंथन: हम सबमें है कुछ ख़ास, फिर किस बात की होड़
Atmamanthan In Hindi | न्याज़िया बेगम: आज जाने हम किस बनावटी दुनिया में जी रहे […]
क्यों हमें दुनिया अच्छी नहीं लगती
मंथन। आपको नहीं लगता ये दुनिया बहुत खूबसूरत है बस हमारे पास इसे देखने का […]
हम क्या कर सकते हैं ?हमें तो कुछ नहीं आता !
न्याज़ियामंथन। अक्सर जब हम बेवक़्त या मजबूरी के चलते काम की तलाश में निकलते हैं […]
आत्ममंथन: क्यों बहोत अच्छे की चाह में हम बुरा चुन लेते हैं
Atmamanthan In Hindi | न्याज़िया बेगम: फैसले लेने में जल्द बाज़ी न करें मगर बहुत […]