Sukhbir Singh Badal Resign : इस वजह से सुखबीर सिंह बादल ने अकाली दल के अध्यक्ष पद की छोड़ी कुर्सी 

Sukhbir Singh Badal Resign : शनिवार को शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष (प्रधान) सुखबीर बादल ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। इस बात की जानकारी अकाली दल के उप प्रधान डॉक्टर दलजीत सिंह चीमा ने दी। उन्होंने बताया कि सुखबीर सिंह बादल ने अपना इस्तीफा वर्किंग कमेटी को सौंप दिया है। उनको श्री अकाल तख्त साहिब द्वारा तनखाहिया घोषित किया गया था। अभी उन्हें धार्मिक सजा सुनाई जानी बाकी है। इसी बीच सुखबीर सिंह बादल ने पहले ही पार्टी के अध्यक्ष के पद से इस्तीफा दे दिया।

सुखबीर सिंह बादल ने छोड़ी प्रधान की कुर्सी (Sukhbir Singh Badal Resign)

शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल (Sukhbir Singh Badal Resign) ने पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया। आज शनिवार को उन्होंने अपना इस्तीफा वर्किंग कमेटी को सौंपा है। सुखबीर सिंह बादल ने अपने इस्तीफे में पार्टी के सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं का धन्यवाद किया। उन्होंने लिखा, मैं पार्टी के सभी नेताओं व कार्यकर्ताओं को धन्यवाद करता हूँ। जिन्होंने मेरी लीडरशिप में भरोसा किया और मेरे कार्यकाल के दौरान पूरा समर्थन दिया।”

उप प्रधान ‘चीमा’ ने X पर दी जानकारी

सुखबीर सिंह बादल के प्रधान पद से इस्तीफा देने की जानकारी शिरोमणि अकाली दल के उप प्रधान डॉक्टर दलजीत सिंह चीमा ने सोशल मीडिया के X पर दी। उन्होंने एक पोस्ट में लिखा कि सुखबीर सिंह बादल को श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघुबीर सिंह ने तनखाहिया घोषित किया गया था। दो दिन पहले वह अपनी धार्मिक सजा सुनने के लिए श्री अकाल तख्त साहब के जत्थेदार से मिलने भी गए थे लेकिन वहां उनकी मुलाकात नहीं हो सकी। इसी बीच वह कुर्सी से गिर गए और उनके पैर में फ्रैक्चर हो गया। वहीं आज उन्होंने पार्टी के प्रधान पद से इस्तीफा दे दिया।

श्री गुरु ग्रंथ साहिब का हुआ था अपमान

दरअसल, यह मामला साल 2007 से लेकर 2017 के बीच अकाली दल और भाजपा गठबंधन के दौरान का है। गठबंधन सरकार के दौरान श्री गुरु ग्रंथ साहि अपमान हुआ था। डेरा सच्चा सौदा प्रमुख को माफी देने के संबंध में सुखबीर सिंह बादल की भी भूमिका पाई गई थी। इसके साथ ही उनके कारण सुमेध सैणी को डीजीपी लगाने को लेकर पंथक वोट बैंक में काफी रोष पाया गया था। जिसके कारण  विधानसभा चुनाव में पार्टी की स्थिति खराब हो गई। पार्टी 59 सीटों से कम होकर मात्र 15 सीटों पर ही सिमट गई। साल 2022 में भी पार्टी की स्थिति ज्यों का त्यों बनी हुई है।

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सुखबीर सिंह बादल ने स्वीकारी गलती (Sukhbir Singh Badal Resign)

शिरोमणि अकाली दल की रिपोर्ट में सुखबीर सिंह बादल को अप्रत्यक्ष ढंग से इस्तीफे के लिए कहा गया था। उनपर इस्तीफे का दबाव बढ़ता देखकर उन्होंने श्री अकाल तख्त साहिब पर पेश होकर अपनी सरकार के दौरान हुई गलतियों को स्वीकार लिया। उन्होंने धार्मिक सजा सुनाई जाने से पहली ही पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया। उन्होंने पार्टी के सभी विंग को भी भंग कर दिया। हालांकि कमेटी की यह रिपोर्ट अभी तक सार्वजनिक नहीं की गई है।

दलजीत सिंह चीमा बन सकते हैं प्रधान 

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक अब शिरोमणि अकाली दल के प्रधान के पद पर डॉ दलजीत सिंह चीमा को नियुक्त किया जा सकता है। वर्तमान में वह पार्टी के उपप्रधान हैं। पार्टी के प्रधान पद की नियुक्ति की प्रक्रिया काफी लंबी है। वहीं पार्टी के कार्यकारी प्रधान बलविंदर सिंह भूंदड़ ने इस संबंध में फैसला लेने के लिए 18 नवंबर को वर्किंग कमेटी की आपात बैठक बुला ली है। यह बैठक चंडीगढ़ के पार्टी मुख्यालय में होगी। क्योंकि पार्टी के प्रधान पद और अन्य पदों का कार्यकाल भी 14 दिसंबर को 2024 को खत्म होना है। अब इस बैठक के बाद ही नये प्रधान का चेहरा साफ हो सकेगा। 

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