पाकिस्तान में टमाटर की कीमतें (Pakistan Tomato Price Hike) 400% तक बढ़ गई हैं, जिससे आम जनता परेशान है। 24 अक्टूबर 2025 को प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार, टमाटर की कीमत अब 600 पाकिस्तानी रुपये (लगभग 170 भारतीय रुपये) प्रति किलो तक पहुंच गई है, जो पहले 50-100 रुपये किलो थी। इस मूल्य वृद्धि का मुख्य कारण अफगानिस्तान के साथ बॉर्डर बंदी (Afghanistan Border Closure) है, जिसने ताजा सब्जियों की आपूर्ति पर बुरा असर डाला है।
पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच बॉर्डर पर तनाव (Pakistan Border Tensions) के चलते तारखम (Torkham) और चमन (Chaman) जैसे मुख्य क्रॉसिंग पॉइंट्स बंद हैं। इससे ताजा सब्जियों, खासकर टमाटर और सेब (Apples), की आपूर्ति बाधित हुई है। रिपोर्ट के अनुसार, रोजाना 5000 कंटेनर बॉर्डर पर फंसे हुए हैं, जिसमें से अधिकतर टमाटर हैं। एक स्थानीय व्यापारी ने बताया, “अफगानिस्तान से आने वाले टमाटर बंद होने से बाजार में सप्लाई आधी हो गई है।”
आर्थिक प्रभाव: मुद्रास्फीति का बोझ
पाकिस्तान पहले ही 22% की मुद्रास्फीति (Pakistan Inflation Rate) से जूझ रहा है, और इस मूल्य वृद्धि ने आम लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। खासकर मध्यम और निम्न वर्ग के लिए टमाटर जैसे बुनियादी खाद्य पदार्थों की कीमतें असहनीय हो गई हैं। अर्थशास्त्रियों का मानना है कि यह संकट फूड सिक्योरिटी को और गहरा सकता है।
पाकिस्तान के वाणिज्य मंत्रालय ने इस मुद्दे पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन स्थानीय अधिकारियों ने बॉर्डर जल्द खोलने की बात कही है। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (Shehbaz Sharif) ने कहा, “हम अफगानिस्तान के साथ बातचीत कर रहे हैं, और जल्द ही स्थिति सामान्य होगी।” लेकिन विपक्षी पार्टियां सरकार पर निशाना साध रही हैं, जिसमें कहा गया है कि बॉर्डर मैनेजमेंट में विफलता के कारण यह संकट हुआ।
भारत ने भी इस संकट पर नजर रखी है, क्योंकि पाकिस्तान की टमाटर आपूर्ति में कमी से भारतीय बाजारों में कीमतें बढ़ सकती हैं। अफगानिस्तान से भारत को भी सब्जियां और फल निर्यात होते हैं, लेकिन पाकिस्तान के रास्ते। इस बंदी से भारत पर भी असर पड़ा है, हालांकि कम।
