रीवा। शासकीय ठाकुर रणमत सिंह महाविद्यालय, रीवा में विश्व तंबाकू निषेध दिवस के अवसर पर जन-जागरूकता के लिए शपथ एवं संवाद कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह आयोजन सामाजिक न्याय एवं दिव्यांग जन सशक्तिकरण विभाग तथा प्राचार्य डॉ. अर्पिता अवस्थी के कुशल नेतृत्व, समाज कार्य विभागाध्यक्ष डॉ. अखिलेश शुक्ल के संयोजन में सम्पन्न हुआ। कार्यक्रम का समन्वय आई.क्यू.ए.सी. तथा चेतना फ्लैगशिप योजना के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य युवाओं तथा आमजन में तंबाकू सेवन के दुष्परिणामों के प्रति सामाजिक चेतना का विकास करना एवं तंबाकू मुक्त समाज की दिशा में एक ठोस पहल करना रहा।
मैं यह शपथ लेता-लेती हूँ
सर्वप्रथम प्राचार्य डॉ. अर्पिता अवस्थी द्वारा सभी उपस्थितजनों को तंबाकू विरोधी शपथ दिलाई गई। शपथ का पाठ निम्नानुसार किया गया। मैं यह शपथ लेता-लेती हूँ कि मैं कभी भी धूम्रपान एवं अन्य किसी भी प्रकार के तंबाकू उत्पादों का सेवन नहीं करूँगा-करूँगी। मैं अपने परिजनों एवं परिचितों को भी धूम्रपान तथा अन्य तंबाकू उत्पादों का सेवन न करने के लिए प्रेरित करूँगा-करूँगी। मैं यह संकल्प लेता-लेती हूँ कि अपने महाविद्यालय परिसर को तंबाकू मुक्त बनाए रखने के लिए सतत प्रयासरत रहूँगा-रहूँगी तथा अपने सहयोगियों को भी इसके लिए प्रेरित करता-करती रहूँगा-रहूँगी।
तंबाकू धीमा जहर
प्राचार्य डॉ. अर्पिता अवस्थी ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, तंबाकू धीमा जहर है, जो धीरे-धीरे व्यक्ति की शारीरिक, मानसिक और सामाजिक क्षमताओं को नष्ट करता है। विद्यार्थियों को चाहिए कि वे अपने जीवन में नकारात्मक आदतों से दूरी बनाकर स्वास्थ्य, शिक्षा और सकारात्मक सोच को अपनाएँ। शिक्षा ही तंबाकू उन्मूलन का सबसे प्रभावी माध्यम है।
तंबाकू मुक्त भारत अभियान
समाज कार्य विभागाध्यक्ष डॉ. अखिलेश शुक्ल ने तंबाकू सेवन की प्रवृत्ति पर सामाजिक दृष्टिकोण से प्रकाश डाला तथा युवाओं से “तंबाकू मुक्त भारत” अभियान में सक्रिय सहभागिता की अपील की। विशिष्ट वक्ता प्रेमलाल बुनकर ने अपने संबोधन में बताया कि तंबाकू सेवन से न केवल कैंसर, हृदय रोग, उच्च रक्तचाप जैसे रोग उत्पन्न होते हैं, बल्कि यह मानसिक तनाव, पारिवारिक विघटन और आर्थिक क्षरण का कारण भी बनता है। उन्होंने नशा मुक्ति की दिशा में सरकारी एवं गैर-सरकारी प्रयासों की जानकारी भी दी, तथा वक्ताओं ने युवाओं को आत्मनिरीक्षण कर जीवनशैली सुधारने एवं समाज में तंबाकू विरोधी वातावरण बनाने का संदेश दिया। कार्यक्रम में अर्पिता शुक्ला, रेशू त्रिपाठी, रूपाली शुक्ला, सूरज मिश्रा, गौरव सोंधिया, आलोक शुक्ला समेत अन्य छात्रों की अंहम भूमिका रही।