New forensic science laboratory gifted to Rewa division: रीवा संभाग को नई न्यायालयिक विज्ञान प्रयोग शाला की सुविधा मिल गई है। इसका लोकार्पण आज मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने वर्चुअल माध्यम से किया। पुलिस लाइन के पास स्थापित इस प्रयोग शाला पर 6.76 करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं, जिसमें 3.66 करोड़ भवन निर्माण और 3.10 करोड़ उपकरणों पर व्यय हुए हैं। न्यायालयिक विज्ञान प्रयोग शाला के निदेशक शशिकांत शुक्ला ने संभाग के सभी पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिए हैं कि अब से सभी फोरेंसिक जांच के नमूने जबलपुर के बजाय रीवा लैब में जमा कराएं।
बताया गया है कि,नई लैब में रीवा, सतना, सीधी, सिंगरौली, मऊगंज और मैहर जिलों के मामलों की जांच होगी। टॉक्सिकोलॉजी शाखा में सर्पदंश और विष संबंधी, रसायन शाखा में मादक पदार्थ और लोकायुक्त के रिश्वत प्रकरण, तथा बायोलॉजी शाखा में हत्या और बलात्कार जैसे गंभीर अपराधों में शारीरिक नमूनों की जांच की जाएगी। अभी तक रीवा संभाग को फोरेंसिक जांच के लिए सागर या जबलपुर जाना पड़ता था और रिपोर्ट के लिए महीनों इंतजार करना पड़ता था। नई लैब से जांच रिपोर्ट जल्द मिलने से न्यायालय समय सीमा में प्रकरणों का निराकरण कर सकेंगे। बताया गया है कि लैब में वैज्ञानिक अधिकारियों और कर्मचारियों की नियुक्ति पहले ही कर दी गई है।