धार। स्वास्थ्य के क्षेत्र में मध्यप्रदेश आज एक ऐतिहासिक और अभूतपूर्व उपलब्धि हासिल कर रहा है। प्रदेश के दो जनजातीय बाहुल्य जिला धार में देश का पहला पीपीपी मोड पर मेडिकल कॉलेज बनाए जाने की शुरूआत की गई हैं। इस कॉलेज की आधारशिला केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जेपी नड्डा ने रखी है। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री मोहन यादव, प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री राजेन्द्र शुक्ला समेत अन्य अतिथी मौजूद रहें।
देश की स्वास्थ्य व्यवस्था में बड़ा बदलाव
केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि धार में मेडिकल कॉलेज का भूमि-पूजन देश के लिए ऐतिहासिक अवसर है। मध्यप्रदेश ने स्वास्थ्य के क्षेत्र में देश को एक नेतृत्व दिया है। राज्य में नवाचारी सोच और जन सहभागिता के साथ देश में पीपीपी मोड के आधार पर पहला मेडिकल कॉलेज शुरू किया जा रहा है। मध्यप्रदेश ने इस मामले में देश का नेतृत्व किया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृ्त्व में देश की स्वास्थ्य व्यवस्था में बड़ा बदलाव आया है। केन्द्रीय मंत्री श्री नड्डा ने कहा कि देश में 2014 में 387 मेडिकल कॉलेज और 51 हजार एमबीबीएस सीटें थीं, आज 819 मेडिकल कॉलेज और एमबीबीएस के लिए 1 लाख 29 हजार सीटें हैं। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने 2030 से पहले 75 हजार सीटें बढ़ाने का लक्ष्य रखा है। केन्द्रीय मंत्री श्री नड्डा ने विवेकानंद नॉलेज फाउंडेशन की पदाधिकारी सुनीता कपूर और सुश्री श्रुति कपूर को पीपीपी मोड पर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल आरंभ करने पर बधाई दी।
पीपीपी मोड पर बनने वाला देश का पहला मेडिकल कॉलेज
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए सीएम मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश के अंतिम पंक्ति में बैठे अंतिम व्यक्ति तक सस्ती, सुलभ और गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं पहुंचाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जगतप्रकाश नड्डा का प्रदेशवासियों की ओर से विशेष आभार जताया है। यह पीपीपी मोड (जन-निजी भागीदारी) पर बनने वाला देश का पहला मेडिकल कॉलेज होगा। इस पहल की शुरुआत मध्यप्रदेश की धरती से हो रही है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पीपीपी मॉडल में समाज और सरकार मिलकर स्वास्थ्य सेवाओं का सुदृढ़ीकरण कर, हर व्यक्ति तक बेहतर इलाज पहुंचाने की दिशा में कार्य करेंगे।
पन्ना और कटनी में शीघ्र ही मेडिकल कॉलेज
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि इसी वर्ष अगस्त माह में पीपीपी मॉडल पर बैतूल, कटनी, धार और पन्ना में चार नए चिकित्सा महाविद्यालय स्थापित करने के लिए अनुबंध पर हस्ताक्षर हुए थे। आज धार और बैतूल का शिलान्यास हो रहा है। शीघ्र ही कटनी और पन्ना में भी मेडिकल कॉलेजों का शिलान्यास किया जाएगा। इन जिलों के बाद भिण्ड, मुरैना, खरगोन, अशोकनगर, गुना, बालाघाट, टीकमगढ़, सीधी और शाजापुर में भी इसी तरह मेडिकल कॉलेज स्थापित करने की तैयारी है। धार जिले में 260 करोड़ रूपए की लागत से 25 एकड़ भूमि पर मेडिकल कॉलेज का निर्माण किया जा रहा है। इस मेडिकल कॉलेज के लिए स्वामी विवेकानंद शिक्षा धाम फाउंडेशन ने सरकार के साथ हाथ मिलाया है। फाउंडेशन को 25 एकड़ जमीन 1 रूपए की लीज पर देकर राज्य सरकार ने स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा को मजबूत करने का रास्ता खोला है। अब धार के लोगों को इलाज के लिए बड़े शहरों में नहीं जाना पड़ेगा। स्थानीय जनजातीय बच्चों को डॉक्टर बनने का अवसर भी मिलेगा। यहां नर्सिंग एवं पैरामेडिकल के कोर्स भी संचालित किए जाएंगे।
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