Junior engineer and private employee trapped while taking bribe in Rewa: भ्रष्टाचार के खिलाफ अपनी सख्त कार्रवाई को जारी रखते हुए लोकायुक्त संभाग रीवा ने आज सुबह मध्य प्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के एक जूनियर इंजीनियर (जेई) और एक प्राइवेट कर्मचारी को ₹10,000 की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपियों की पहचान जूनियर इंजीनियर किशोर त्रिपाठी और प्राइवेट कर्मचारी प्रमोद द्विवेदी के रूप में हुई है। यह ट्रैप कार्यवाही रीवा में कार्यपालन यंत्री के कार्यालय में की गई।
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क्या था मामला?
यह कार्रवाई सीधी निवासी लकी दुबे की शिकायत पर आधारित थी, जिन्होंने 08 अक्टूबर को लोकायुक्त में शिकायत दर्ज कराई थी। शिकायतकर्ता ने बताया था कि उन्होंने शहर में तीन सोलर पैनल लगाए थे और उनके मीटर कनवर्जन की फाइल पर हस्ताक्षर करने के लिए जूनियर इंजीनियर किशोर त्रिपाठी और प्रमोद द्विवेदी प्रति फाइल ₹6,000 के हिसाब से कुल ₹18,000 की रिश्वत की मांग कर रहे थे।

लोकायुक्त ने ऐसे बिछाया जाल
शिकायत के सत्यापन के बाद, लोकायुक्त पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार पाटीदार के निर्देशानुसार निरीक्षक उपेंद्र दुबे के नेतृत्व में एक विशेष टीम गठित की गई। आज सुबह ट्रैप कार्यवाही के दौरान, दोनों आरोपियों किशोर त्रिपाठी और प्रमोद द्विवेदी को शिकायतकर्ता लकी दुबे से ₹10,000 की रिश्वत लेते हुए मौके पर ही दबोच लिया गया।
लोकायुक्त ने दोनों आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज कर लिया है और विस्तृत जांच शुरू कर दी है। इस कार्रवाई ने सरकारी महकमों में भ्रष्टाचार के खिलाफ लोकायुक्त की सख्त नीति को एक बार फिर स्पष्ट किया है। ट्रैप दल में निरीक्षक संदीप सिंह भदौरिया, प्र.आर. सुरेश कुमार, मुकेश मिश्रा, शिवलाल प्रजापति, पवन पाण्डेय, लवलेश पाण्डेय और जितेंद्र सिंह शामिल थे।