MP में अंगदान और देहदान करने वालों को मिलेगा गार्ड ऑफ ऑनर

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MP Organ Donation and Body Donation News: मुख्यमंत्री ने AIIMS के दौरे के दौरान कहा था कि राज्य में हृदय प्रत्यारोपण और अन्य अंग प्रत्यारोपण की सुविधाओं को मजबूत किया जाएगा। उन्होंने बताया कि जहां एयर एम्बुलेंस की सुविधा उपलब्ध है, वहां इसका उपयोग किया जाएगा। जहां एयर एम्बुलेंस नहीं पहुंच सकती, वहां हेलिकॉप्टर की व्यवस्था की जा रही है ताकि मरीजों को समय पर उपचार मिल सके।

मध्यप्रदेश में अंगदान और देहदान करने वालों के अंतिम संस्कार को अब गार्ड ऑफ ऑनर के साथ सम्मानित किया जाएगा। इसकी घोषणा फरवरी 2025 में भोपाल AIIMS में हुए पहले हृदय प्रत्यारोपण के दौरान मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने की थी। मंगलवार को मध्यप्रदेश शासन ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिए हैं। मुख्यमंत्री ने AIIMS के दौरे के दौरान कहा था कि राज्य में हृदय प्रत्यारोपण और अन्य अंग प्रत्यारोपण की सुविधाओं को मजबूत किया जाएगा। उन्होंने बताया कि जहां एयर एम्बुलेंस की सुविधा उपलब्ध है, वहां इसका उपयोग किया जाएगा। जहां एयर एम्बुलेंस नहीं पहुंच सकती, वहां हेलिकॉप्टर की व्यवस्था की जा रही है ताकि मरीजों को समय पर उपचार मिल सके। उन्होंने अंगदान और देहदान को प्राथमिकता देने की अपील भी की, ताकि ज्यादा से ज्यादा जरूरतमंदों को नया जीवन मिल सके।

गार्ड ऑफ ऑनर का सम्मान

अब देहदान या हृदय, लिवर, गुर्दे जैसे अंगों का दान करने वाले नागरिकों के पार्थिव शरीर को गार्ड ऑफ ऑनर से सम्मानित किया जाएगा। मध्यप्रदेश शासन के सामान्य प्रशासन विभाग ने इस संबंध में समस्त संभागायुक्तों, कलेक्टरों, पुलिस आयुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को आदेश जारी किए हैं। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि इस पहल का उद्देश्य समाज में अंगदान और देहदान के प्रति जागरूकता बढ़ाना और इन महान दानदाताओं के प्रति सम्मान व्यक्त करना है।

आयुष्मान कार्ड और मेडिकल सुविधाओं का विस्तार

मुख्यमंत्री ने दानदाताओं के परिवारों को आयुष्मान कार्ड प्रदान करने की भी घोषणा की थी। साथ ही, सभी मेडिकल कॉलेजों में अंगदान और अंग प्रत्यारोपण की सुविधाओं का विस्तार करने की योजना बनाई गई है।

उप मुख्यमंत्री ने बताया ऐतिहासिक निर्णय

उप मुख्यमंत्री राजेन्द्र शुक्ल ने कहा कि यह एक ऐतिहासिक निर्णय है। देहदान और अंगदान जीवन का सबसे महान दान है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव का यह कदम निश्चित रूप से लोगों को अंगदान और देहदान के लिए प्रेरित करेगा, जिससे कई लोगों को नया जीवन मिलेगा।

परिवार का साल में दो बार सम्मान

मध्यप्रदेश सरकार ने अंगदान और देहदान करने वालों के साथ उनके परिजनों को भी सम्मानित करने का निर्णय लिया है। इसके तहत अब हर साल 26 जनवरी और 15 अगस्त को जिला स्तरीय कार्यक्रमों में दानदाताओं के परिवारों को सम्मानित किया जाएगा। इसकी जिम्मेदारी स्थानीय प्रशासन को सौंपी गई है।

मध्यप्रदेश में अंगदान की स्थिति

नेशनल ऑर्गन एंड टिशू ट्रांसप्लांट ऑर्गेनाइजेशन (NOTTO) की 2023 की वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, देशभर में कुल 1,099 कैडेवर डोनेशन हुए थे। इनमें तेलंगाना में सर्वाधिक 252 डोनेशन दर्ज किए गए, जबकि मध्यप्रदेश में यह संख्या केवल 8 थी। भोपाल AIIMS की यह पहल निश्चित रूप से प्रदेश में अंगदान के प्रति जागरूकता बढ़ाने और लोगों को इस नेक कार्य के लिए प्रेरित करने में मील का पत्थर साबित होगी।

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