Curd Side Effects: भारतीय घरों में दही एक रोजमर्रा का पोषणयुक्त खाद्य पदार्थ है। यह स्वाद में थोड़ा खट्टा, बनावट में मलाईदार और सेहत में बेहद लाभदायक होता है। यह पाचन को सुधरता है और हड्डियों को मजबूत बनाता है। कहते हैं कि रोजाना दही के सेवन से इम्यूनिटी भी सुधरती है। परंतु दही खाने(dahi khane ke fayde) का एक सही समय और सही आदत होनी जरूरी है क्योंकि गलत तरीके से इसका सेवन स्वास्थ्य के लिए बाहर हानिकारक हो सकता है।

गलत तरीके से दही खाने पर होते हैं यह नुकसान
जी हां, दही भले ही सुपर फूड होता है परंतु इसके सेवन के दौरान कुछ विशेष नियमों का पालन करना पड़ता है। ऐसे में यदि आप भी रोजाना दही का सेवन करते हैं तो आपको भी दही खाने के समय इसके नियम का पालन करना अनिवार्य है। अन्यथा दही आपके शरीर को लाभ तो नहीं पहुंचाएगी परंतु इसकी वजह से कई प्रकार के साइड इफेक्ट जरूर (dahi khane ke nuksan) देखने को मिलेंगे और आज के इस लेख में हम आपको इसी की जानकारी देने वाले हैं।
दही खाने के लाभ
- रोजाना दही खाने पर आपके शरीर को प्रोबायोटिक बैक्टीरिया का लाभ पहुंचता है जो आपके गट को हेल्दी बनाए रखते हैं।
- इससे पाचन बेहतर होता है।
- रोजाना दही खाने से कैल्शियम फास्फोरस और विटामिन बी12 की कमी पूरी होती है।
- रोजाना दही आपकी इम्यूनिटी को भी मजबूत बनाता है।
- यह आपकी त्वचा और बालों के लिए भी काफी फायदेमंद होता है।
दही खाते समय कौन से नियम का पालन करना चाहिए (dahi khane ke ayurvedic niyam)
रात के समय न खाएं दही: आयुर्वेद के अनुसार दही भारी, खट्टा और तामसिक गुणों से भरपूर होता है। ऐसे में रात में दही खाने से कफ बढ़ता है जिससे फेफड़ों में बलगम, साइनस, सर्दी जैसी परेशानियां हो सकती है।
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गलत संयोजन के साथ दही: दही को कभी भी दूध या अन्य दूधजन्य पदार्थों के साथ मिलाकर नहीं खाना चाहिए। यह संयोजन पाचन संबंधित विकार पैदा करता है। इसके साथ दही को अम्लीय फलों के साथ में भी मिलकर नहीं खाना चाहिए जैसे की संतरा, मछली, खीरा, प्याज इत्यादि इससे त्वचा से जुड़े रोग उत्पन्न होते है।
रखा हुआ दही खाना: दही अगर ज्यादा खट्टा हो चुका है तो उसका सेवन बिलकुल न करें अधिक दिनों तक रखे गए दही में विभिन्न प्रकार के हानिकारक बैक्टीरिया का संक्रमण होता है।
दही खाने का सही समय और सही संयोजन(healthy combination with curd)
आमतौर पर दही हमेशा दोपहर के समय खाएं। दोपहर के समय पाचन शक्ति तीव्र रहती है इस दौरान दही खाने से दही अच्छी तरह से पच जाता है और कफ जैसी बीमारियां नहीं होती। इसके अलावा दही के लिए बेहतर संयोजन मूंग दाल होती है। यदि मूंग दाल की खिचड़ी के साथ दही लिया गया तो यह पाचन और ऊर्जा के लिए बेहतर संयोजन होता है। परंतु उड़द दाल के साथ दही को कभी भी नहीं खाना चाहिए।