उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityantah) ने कहा है कि लखनऊ के पंतनगर, इंद्रप्रस्थनगर और कुकरैल नदी के किनारे बने मकान अब नहीं तोड़े जाएंगे। रिवर फ्रंट योजना के तहत कुकरैल नदी के किनारे अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया जा रहा था। इसके चलते कई मकानों पर लाल निशान भी लगा दिए गए थे। इलाके के लोग अभियान को लेकर चिंतित थे। लेकिन अब सीएम योगी ने कहा है कि मकानों पर निशान लगाने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।
सीएम योगी (CM Yogi Adityantah) ने x पर की घोषणा,
“चाहे पंतनगर हो या लखनऊ का इंद्रप्रस्थनगर, यहां के हर निवासी की सुरक्षा और संतुष्टि हमारी जिम्मेदारी है। कुकरैल नदी पुनरुद्धार परियोजना से प्रभावित परिवार निश्चिंत रहें। निजी मकानों पर निशान लगाने का कोई औचित्य नहीं था, ऐसा करने वालों पर कार्रवाई होगी। संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे क्षेत्र के लोगों से मिलकर उनका भय और भ्रम दूर करें तथा वहां जन सुविधाएं विकसित करें।”
मुख्यमंत्री (CM Yogi Adityantah) ने फ्लड प्लेन जोन के बारे में जानकारी देते हुए आगे लिखा,
“एनजीटी द्वारा जारी आदेशों/नियमों के अनुसार बाढ़ क्षेत्र को चिन्हित किया गया है। इसमें निजी भूमि भी शामिल है। इस क्षेत्र को खाली करने की न तो फिलहाल कोई जरूरत है और न ही कोई प्रस्ताव है। इस क्षेत्र में बने निजी भवनों को गिराने का कोई मामला विचाराधीन नहीं है। बाढ़ क्षेत्र में भविष्य में एनएमसीजी की अनुमति के बिना कोई नया निर्माण नहीं किया जाएगा। बाढ़ क्षेत्र चिन्हांकन के दौरान भवनों/निर्माणों पर लगाए गए चिह्नों को हटाने के आदेश दिए गए हैं।”
सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityantah) ने आगे कहा कि अगर नदी के किनारे किसी की निजी जमीन पर भवन का निर्माण होता है तो उन्हें उचित मुआवजा दिया जाएगा।
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क्या था मामला?
उत्तर प्रदेश सरकार कुकरैल रिवर फ्रंट योजना के तहत लखनऊ में कुकरैल नदी पर रिवर फ्रंट बना रही है। इसके लिए नदी के आसपास बने अवैध मकानों को चिन्हित किया गया। मकानों को चिन्हित किया गया। कुछ समय पहले अकबरनगर में भी ऐसी ही कार्रवाई की गई थी। वहां सालों से रह रहे लोगों को विस्थापित होना पड़ा था। उनके मकानों पर बुलडोजर चलाया गया था। अब पंतनगर में भी ऐसी ही कार्रवाई होने वाली थी। इस संबंध में यूपी के सिंचाई विभाग ने अवैध मकानों पर लाल निशान लगाकर अपनी तैयारी पूरी कर ली थी। बाद में नगर निगम की टीम पंतनगर का निरीक्षण करने वाली थी। लेकिन मकानों के चिन्हांकन के बाद मकान मालिकों ने इसका विरोध किया। खबरों के मुताबिक चिन्हांकन के बाद लोगों ने मकानों के बाहर रजिस्ट्री की कॉपी के साथ एक पर्चा चिपका दिया है। इस पर लिखा था,
“अगर दस्तावेज अवैध हैं, तो वैध क्या?
लोगों ने कहा कि अगर सरकार के पास ऐसी कोई योजना है तो वह उनसे बात करे या उन्हें मुआवजा दे।