डिप्टी चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ लेफ्टिनेंट जनरल राहुल आर सिंह (Lt Gen Rahul R Singh) ने 4 जुलाई 2025 को एक कार्यक्रम में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत की सैन्य ताकत का खुलासा किया। उन्होंने कहा कि चीन ने पाकिस्तान को अपने हथियारों के लिए ‘लाइव टेस्टिंग लैब’ के रूप में इस्तेमाल किया, जिससे भारत को एक सीमा पर तीन दुश्मनों—पाकिस्तान, चीन और तुर्की—का सामना करना पड़ा।
यह ऑपरेशन 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में 7 मई 2025 को शुरू हुआ, जिसमें 26 लोग मारे गए थे। भारत की स्वदेशी वायु रक्षा प्रणालियों ने इस ऑपरेशन को ऐतिहासिक बना दिया। ऑपरेशन सिंदूर का सारऑपरेशन सिंदूर भारत का आतंकवाद के खिलाफ सटीक सैन्य जवाब था।
7 मई को शुरू हुए इस ऑपरेशन में भारतीय सेना और वायुसेना ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट किया, जिसमें जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के ठिकाने शामिल थे। विदेश सचिव विक्रम मिश्री (Vikram Misri) ने कहा कि यह पहलगाम हमले का जवाब था, न कि युद्ध को बढ़ाने की कोशिश।
भारत ने 25 मिनट में 100 से अधिक आतंकवादियों को मार गिराया, बिना किसी पाकिस्तानी सैन्य या नागरिक ढांचे को नुकसान पहुंचाए। वायु रक्षा में भारत की उपलब्धिऑपरेशन में भारत की वायु रक्षा प्रणालियों ने शानदार प्रदर्शन किया:
- स्वदेशी तकनीक: ‘आकाशतीर’ और एकीकृत वायु कमांड प्रणाली ने पाकिस्तान के 600 से अधिक ड्रोनों को नष्ट किया। लेफ्टिनेंट जनरल सिंह ने इसे युद्धक्षेत्र में भारत की तकनीकी श्रेष्ठता बताया।
- हथियार: सेना ने L-70 गन, आकाश मिसाइल, ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल, और राफेल जेट्स से SCALP मिसाइल और AASM हैमर बमों का इस्तेमाल किया।
- लाहौर में हमला: इजरायली हार्पी ड्रोनों ने लाहौर में पाकिस्तान की चीनी निर्मित HQ-9 वायु रक्षा प्रणाली को नष्ट किया।
- स्वदेशी ताकत: ब्रह्मोस ब्लॉक III, आकाश मिसाइल, और पिनाका Mk2 ने भारत की आत्मनिर्भरता का लोहा मनवाया।
लेफ्टिनेंट जनरल सिंह ने कहा, “पाकिस्तान के ड्रोन हमले नाकाम रहे। यह हमारी वायु रक्षा की ताकत है।” चीन-पाकिस्तान-तुर्की गठजोड़लेफ्टिनेंट जनरल सिंह ने बताया कि भारत को तीन दुश्मनों से जूझना पड़ा:
- चीन: पाकिस्तान के 81% हथियार चीनी हैं, जैसे HQ-9, J-10 और JF-17 जेट। चीन ने रियल-टाइम खुफिया जानकारी दी।
- तुर्की: बायक्तर ड्रोन उपलब्ध कराए।
- पाकिस्तान: ड्रोन स्वार्म्स से भारत की रक्षा प्रणालियों को परखने की कोशिश की, लेकिन S-400 और आकाशतीर ने इन्हें नाकाम कर दिया।
प्रमुख उपलब्धियां
- सटीक हमले: 7 मई को 25 मिनट में मुरिदके और बहावलपुर सहित नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट किया गया।
- स्वर्ण मंदिर की रक्षा: 8 मई को पाकिस्तान ने अमृतसर के स्वर्ण मंदिर सहित 15 शहरों पर ड्रोन और मिसाइल हमले किए, लेकिन भारत ने सभी को रोक दिया। मेजर जनरल कार्तिक सी शेषाद्रि (Major General Kartik C Seshadri) ने कहा, “हमने स्वर्ण मंदिर को बचा लिया।”
- नई नीति: ऑपरेशन ने आतंकवाद के खिलाफ भारत की त्वरित कार्रवाई की नीति को स्थापित किया।
प्रभाव और प्रतिक्रियाएं
- पाकिस्तान: प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (Shehbaz Sharif) ने इसे ‘युद्ध की कार्रवाई’ बताया और नागरिक नुकसान का दावा किया, जिसे भारत ने खारिज किया।
- वैश्विक प्रतिक्रिया: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने परमाणु युद्ध की आशंका जताई, लेकिन दोनों देशों ने संयम दिखाया। यूके ने डी-एस्केलेशन की अपील की।
- भारत में समर्थन: विपक्ष ने ऑपरेशन का समर्थन किया। राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने संसद सत्र की मांग की, और दिल्ली में तिरंगा मार्च हुआ।