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Champai Soren Security: चंपई सोरेन की सुरक्षा घटाई गई, सुरक्षा में तैनात गार्ड सहित 7 वाहन हटाए गए।

Champai Soren Security : राज्य सरकार ने पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन की सुरक्षा में तैनात जेड प्लस और ए प्लस सुरक्षा गार्ड के साथ सात वाहनों को वापस ले लिया है। इससे पहले उनके घर पर तैनात सुरक्षाकर्मियों को भी हटा दिया गया था। वाहन और गार्ड वापस लिए जाने की खबर चंपई सोरेन ने अपने एक्स हैंडल पर शेयर की है।

चंपई सोरेन ने ट्वीट किया…

उन्होंने अपने एक्स हैंडल पर लिखा है कि झारखंड में अपने लोगों के बीच उन्हें किसी तरह की सुरक्षा की जरूरत नहीं है। एक पूर्व मुख्यमंत्री की सुरक्षा से खिलवाड़ करने की इस राजनीतिक साजिश का जवाब राज्य की जनता देगी। सारे नियम और प्रोटोकॉल को दरकिनार कर राज्य सरकार ने उनकी सुरक्षा में लगे वाहनों को वापस ले लिया है। आपको बता दें कि जब तक चंपई सोरेन झामुमो में थे, तब तक सब ठीक चल रहा था, लेकिन उनके भाजपा में शामिल होते ही चीजें बदल गई हैं।

कोल्हान क्षेत्र के दौरे पर हैं चंपई सोरेन Champai Soren Security

कोल्हान क्षेत्र के दौरे पर हैं चंपई इसको ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री स्वयं अब तक तीन से चार बार कोल्हान का दौरा कर चुके हैं। अब मुख्यमंत्री की नजर कोल्हान पर टिकी है। सरायकेला में दो बार झामुमो की बैठक भी हुई, जहां मंत्रियों और विधायकों की टीम ने झामुमो कार्यकर्ताओं में जोश भरने का काम किया।

आदिवासी भाइयों का अस्तित्व खतरे में नहीं आने देंगे : चंपई सोरेन

पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा नेता चंपई सोरेन ने झामुमो को घेरते हुए कहा कि 1855 में सिदो-कान्हू ने तीर की नोक से संथाल परगना का निर्माण किया और काश्तकारी अधिनियम बनाया, लेकिन वर्तमान में संथाल परगना और आदिवासियों की जमीन का अस्तित्व खतरे में है। संथाल परगना के लोगों ने ब्रिटिश साम्राज्यवाद को स्वीकार नहीं किया, लेकिन आज उसी जमीन पर बांग्लादेशी घुसकर जमीन पर कब्जा कर रहे हैं और सामाजिक व्यवस्था को तोड़ रहे हैं।

आदिवासियों के लिए सबसे ज्यादा काम भाजपा ने किया : अर्जुन मुंडा Champai Soren Security

सभा को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि भाजपा ने झारखंड को अलग राज्य बनाया। आज राज्य बने 24 साल हो गए हैं, लेकिन इतने समय बाद भी यहां के लोग अपने बच्चों को लेकर चिंतित हैं। आबकारी भर्ती दौड़ में 17 अभ्यर्थियों की मौत हो गई, जबकि नियम था कि पहले परीक्षा होगी और फिर दौड़ होगी, लेकिन 600 पदों के लिए पांच लाख बच्चों को दौड़ाया गया और 17 की मौत हो गई।

कोल्हान में हुई गोलीबारी की घटना के लिए कांग्रेस जिम्मेदार Champai Soren Security

सांसद विद्युत वरण महतो ने कहा कि कोल्हान में जितनी भी गोलीबारी की घटनाएं हुई हैं, वह कांग्रेस की देन है। गुवा गोलीकांड हो या ईचा डैम गोलीकांड, सब कांग्रेस की देन है। जिस कांग्रेस ने अलग राज्य आंदोलन को दबाया, आज उसी कांग्रेस से झामुमो का प्रेम बढ़ता जा रहा है।

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