Best Financial Planning: जब भी बात फाइनेंशियल प्लान करने की आती है ता आज के दौर में जिन बातों का जिक्र होता है उनमें सबसे पहले यही आता है. जी हां अक्सर SIP, Hip and TIP का फार्मूला कोट किया जाता है. चलिए सबसे पहले आपको इनके पूरे नाम बता देते हैं, SIP (एसआईपी) का मतलब सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान है. HIP (एचआईपी) का मतलब हेल्थ इंश्योरेंशन प्लान है और TIP (टीआईपी) का मतलब टर्म इंश्योरेंस प्लान है.
निवेश की उम्र 30 बनाएं ही
जिंदगी में गोल्स बड़े होते हैं. जैसे शानदार मकान, शादी, बच्चे फिर बच्चों की पढ़ाई, रिटायरमेंट ना जानें और क्या क्या ऐसे में इन सब प्लानिंग का फाउंडेशन आपकी पहली नौकरी या कमाई की शुरुआत से ही पड़ता है. यदि आपने 30 की उम्र में मजबूत निवेश की नींव बनाई है तो वह आपको लंबी अवधि में वृद्धि, सुरक्षा और मानसिक शांति देती है. इसके लिए आपको शुरू से ही प्रयास करना होगा.
SIP?
आज के दौर में सबसे चर्चित निवेश फार्मूला में से एक सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान या सिप (SIP) हैं, शायद आपने भी कहीं ना कहीं इसके बारे में जरूर सुना होगा. यह आपके पैसे को लंबे समय में तेजी से बढ़ाता है. इसमें हर महीने तय राशि का निवेश करके आप रुपया-लागत औसत और चक्रवृद्धि का लाभ उठाते हैं. SIP का इतिहास बताता है कि लंबी अवधि तक भारतीय इक्विटी में बने रहने पर औसतन दो अंकों की सालाना वृद्धि देखने को मिली है. समय बढ़ने के साथ जोखिम कम होता है. एक बार जब SIP शुरू हो जाए तो आप स्टेप-अप एसआईपी (Step-up SIP) को भी चुन सकते हैं. इसमें हर साल 5–10 फीसदी राशि बढ़ाने से साधारण एसआईपी के मुक़ाबले बहुत बड़ा फंड तैयार होता है.
TIP?
आप जो आय अर्जित करते हैं, उसकी सुरक्षा के लिए टर्म इंश्योरेंस प्लान लेना बहुत जरूरी है. 30 साल की उम्र में इसे लेने का सुझाव इसलिए दिया जाता है क्योंकि इस उम्र में इसका प्रीमियम सबसे कम होता है. इस समय आप लंबी अवधि की सुरक्षा (20–30 साल तक) आसानी से लॉक कर सकते हैं. यहां सवाल उठता है कि कितना कवर लें. यह आम तौर पर आपकी सालाना आय का 10–15 गुना होना चाहिए. साथ ही लोन और भविष्य की जरूरतों को जोड़ लें. इसे ले लेने पर यदि आपके साथ कोई अनहोनी होती है, तो परिवार के खर्चे और बच्चों के सपने सुरक्षित रहते हैं. लेकिन ध्यान दें, सिर्फ शुद्ध टर्म प्लान लें (यूलिप या रिटर्न वाले एड-ऑन से बचें). साथ ही पर्याप्त राशि का कवर चुनें और ऐसा कार्यकाल रखें जो बच्चों की पढ़ाई और आपकी कामकाजी उम्र को कवर करे.
HIP?
SIP और TIP का इंतजाम कर लिया तो अब नंबर आता है हेल्थ इंश्योरेंस प्लान या HIP का. एक बार आपने इन दोनों का इंतजाम कर लिया तो फिर हिप भी जरूरी है. वैसे भी भारत में मेडिकल महंगाई सालाना 10–12 फीसदी तक बढ़ रही है. आंकड़े बताते हैं कि इस समय भारत में कुल स्वास्थ्य खर्च (Medical Expenditure) का लगभग आधा हिस्सा लोग अपनी जेब से भरते हैं.
बिना इंश्योरेंस अस्पताल का एक बड़ा बिल आपकी सालों की बचत खत्म कर सकता है. इसलिए एक अच्छा फैमिली फ्लोटर प्लान लें जिसमें रिस्टोरेशन बेनिफिट, नो क्लेम बोनस और डे केयर कवर शामिल हो. बाद में आय बढ़ने पर सुपर टॉप अप जरूर जोड़ें. सुझाव तो यह है कि इसे जितना हो सके, ले लें ताकि प्रीमियम कम रहे और वेटिंग पीरियड जल्दी खत्म हो जाए. इसके साथ ही आप 3 से 6 महीने का इमरजेंसी फ़ंड बनाए और हर साल कवर राशि की रिव्यू करें.